कैंसे ठीक होंगी सडकें


गांवों और शहर के भीतरी इलाकों की सड़कें इतनी खराब स्थिति में है कि इन्हें तत्काल ठीक करने की जरुरत है। पैसे की कमी के चलते ये सड़कें खराब नहीं है। ऐसा इसलिए होता है क्योंकि कुछ सड़कों की मरम्मत तो एक साल में कई-कई बार की जाती है वही कुछ पर ध्यान भी नहीं दिया जाता या उनके बनाने में घटिया सामग्री लगती है। सूचना अधिकार कानून से मिली जानकारी के मुताबिक बहुत सी सड़कें तो केवल कागज पर ही बनाई जाती हैं, लेकिन फिर भी दोषी अधिकारियों के खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं की गई। अंदर की सड़कों को ग्राम सभा या मोहल्ला सभा के हवाले कर देना चाहिए। लोग यह निर्णय करें कि किस सड़क की मरम्मत सबसे पहले करनी है। ठेकेदार का भुगतान तब तक नहीं किया जाना चाहिए जब तक मोहल्ला सभा की खुली बैठक में लोग उसके द्वारा किए गए काम को पास न कर दें। अगर इसमें भ्रष्टाचार का कोई मामला प्रकाश में आता है तो मोहल्ला सभा के पास दोषी अधिकारी को सस्पेंड करने, वेतन रोक लेने या उस पर जुर्माना लगाने का अधिकारी होना चाहिए। मोहल्ला सभा चाहे तो पुलिस को एफआईआर दर्ज करने के लिए भी कह सकती है।

5 Responses

  1. सहकारिता कभी भी इस मुल्क में सफ़ल नही हुई आप कह रहे हो सभा, मोहल्ला सभा………………

  2. इस मुल्क को परंपराएं और धर्म ने संगठित रखा और सामुदायिक कार्यों के लिए प्रेरित किया, किन्तु मौजूदा व्यवस्था पूरी तरह फ़ेल है

    • पहले का तो मुझे पता नहीं लेकिन आज तो धर्म शब्द इस मुल्क के लोगों को बाड़ों में बाँट रहा है, परम्पराएं समझ में नहीं आतीं इसलिए बोझ बन चुकीं हैं. अब तो न सम्प्रदाय (जिसे आप धर्म कह रहे हैं) और न परम्पराएं कुछ कर पा रही हैं, ज़रूरत है आदमी को आदमी के रूप मैं देखने की. आदमी खुद को और दूसरों को आदमी के रूप में पहचान सकेगा तो वह सम्प्रदाय और परम्पराओं के बाड़े से ऊपर उठकर समुदाय में रहने लायक बनेगा. लेकिन हमारी शासन व्यवस्था हमें ऐसा करने में आड़े आती है और हम हैं कि सब कुछ शासन के सहारे छोड़ कर शोषित होने में लगे हैं.
      मनीष सिसोदिया

  3. main sri krishna kumar mishra ji se kehna chahta hoon ki yadi aap isi tarah se kisi kam karne wale vyakti ke oopar pehle hi question mark laga denege toh kam ki shuruaat bhi nahin ho payegi. yadi aap ke paas koi upaay hai toh aap upaay bataein nahin toh question mark lagana band karein. meri baton ko otherwise mat lijiyega.
    aapka chhota bhai,
    dhanyawad
    vande matram.

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